मास्टर प्लान : दिल्ली बनेगी 'युवा', 24 घंटे होगी कामकाज से लेकर मौज-मस्ती की सुविधा
मौजूदा वक्त में 30 फीसदी आबादी तीस साल तक के युवाओं की मास्टर प्लान के ड्राफ्ट में इस तबके के अनुकूल ढांचा तैयार करने पर जोर नाइट लाइफ, स्टार्टअप, विरासत संरक्षण, पर्यावरण और कम होती जगह के बावजूद बेहतर नियोजन सरीखे प्रावधान शामिल
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दिल्ली की युवा आबादी को बेहतर सुविधाएं देने के लिए अगले 20 साल का खाका मास्टर प्लान में तैयार किया गया है। डीडीए की कोशिश है कि तीस साल तक की तीस फीसदी आबादी की जरूरतों को पूरा किया जा सके। मास्टर प्लान-2041में 24 घंटे काम करने के लिहाज से दिल्ली को तैयार करने के साथ नाइट लाइफ, स्टार्टअप, मजबूत सार्वजनिक परिवहन, विरासत संरक्षण, पर्यावरण और कम होती जगह के बावजूद बेहतर तरीके से नियोजित करने सरीखे प्रावधान शामिल किए गए हैं। डीडीए अगले बीस साल में दिल्ली के नियोजित विकास के जरिए समग्र ढांचा तैयार करेगा।
मास्टर प्लान के ड्राप्ट के मुताबिक, 2041 तक दिल्ली की आबादी 3.90 करोड़ होगी। जबकि 2011 में यह संख्या 1.67 करोड़ थी। इसका बड़ा हिस्सा युवाओं का होगा, जिसे रोजागर के लिए अवसर देने होंगे। फिलहाल दिल्ली की तकरीबन 30 फीसदी आबादी की आयु 30 वर्ष तक के युवाओं की है। लिहाजा मास्टर प्लान से इस बड़े तबके की जरूरतों को पूरा किया जाएगा। इसमें दिल्ली को 24 घंटों काम करने लायक बनाया जाएगा। इसके लिए नीतिगत बदलाव करने होंगे।
जबकि मॉडल शॉप एंड इस्टेबलिसमेंट एक्ट से इस अवधारणा को मजबूत किया जाएगा। दूसरी ओर आईटी, ज्ञान आधारित अर्थव्यस्था, पर्यटन, उच्च शिक्षा, हॉस्टिपिटिलेटी, रियलिटी मार्केट सरीखे उद्यमों के विकास पर जोर होगा। इसके अलावा स्टार्टअप का प्रावधान भी मास्टर प्लान में किया जा रहा है।
डीडीए अधिकारियों का कहना है कि आर्थिक गतिविधियों का बेहतर ढांचा तैयार करने के साथ भविष्य के जरूरतों को भी मास्टर प्लान पूरा करेगा।दिल्ली को युवाओं की पसंद के अनुरूप भी ढाला जाएगा। इसमें शिक्षा, मनोरंजन, अर्थव्यवस्था, रोजगार, कैरियर, ट्रैफिक, पर्यावरण व रियायती दर पर आवास और हेरिटेज जैसे ज्वलंत मुद्दे से जुड़े प्रस्ताव रहेंगे। केंद्रीय आवास एवं शहरी मामला मंत्रालय के निर्देश पर डीडीए ने बुधवार को एक बैठक की और इससे जुड़े प्रस्ताव पर लोगों से 45 दिन के भीतर सुझाव भी मांगे हैं।
ये हैं प्रमुख बातें...
दिल्ली में नाइट लाइफ को दिया जाएगा प्रोत्साहन, होगा सुरक्षित स्थलों का विकास, 24/7 युवा खाने पीने से लेकर, काम काज का मिलेगा मौका।
शिक्षा हब बन चुकी दिल्ली में प्रवासी छात्रों के रहने और शिक्षा के लिए बेहतर स्थल का विकास।
डिजिटल युग में कैरियर का मिलेगा मौका। विकसित होंगे डिजिटल पार्क।
मिक्सड लैंड यूज पर होगा फोकस। रिहायश, ऑफिस और मनोरंजन की होगी सुविधा।
पार्किंग आवश्यकताओं, उपयोगों के मिश्रण आदि से संबंधित विकास नियंत्रण मानदंडों को बनाया जाएगा सरल।
जलवायु परिवर्तन के प्रभावों और प्रदूषण से निपटने का होगा इंतजाम।
टीओडी से एक ही परिसर में नौकरी, आवास व बाजार की होगी सविधा।
यमुना रिवरफ्रंट विकास, जैव विविधता पार्क के संरक्षण और वृद्धि पर ध्यान देने के साथ पर्यावरण में वृद्धि, वायु, जल और ध्वनि प्रदूषण से निपटने पर जोर।
पुराने और जीर्ण-शीर्ण क्षेत्रों में पुनर्जनन, नियोजित पुनर्विकास और क्षेत्रों की रेट्रोफिटिंग के लिए प्रोत्साहन।